35 दिन बाद गंगोत्री धाम में लौटी रौनक, श्रद्धालुओं ने किए मां गंगा के दर्शन

35 दिन बाद गंगोत्री धाम में लौटी रौनक, श्रद्धालुओं ने किए मां गंगा के दर्शन
उत्तरकाशी/श्रीनगर गढ़वाल। जनपद उत्तरकाशी में आई धराली आपदा और लगातार हुई अतिवृष्टि के कारण पिछले 35 दिनों से ठप पड़ी गंगोत्री धाम यात्रा फिर से शुरू हो गई। इस दिन 100 से अधिक श्रद्धालु मां गंगा के दर्शन के लिए धाम पहुंचे। लंबे समय बाद मंदिर प्रांगण में श्रद्धालुओं की भीड़ देख स्थानीय लोग और व्यापारी भी प्रसन्न दिखाई दिए।
धराली क्षेत्र में आई आपदा और भारी बारिश के कारण भटवाड़ी से धराली तक गंगोत्री हाईवे कई स्थानों पर क्षतिग्रस्त हो गया था। हाईवे बंद होने के कारण यात्रा पूरी तरह ठप हो गई थी। जिला प्रशासन और बीआरओ (सीमा सड़क संगठन) ने लगातार मार्ग खोलने के प्रयास किए, जो सफल रहे और हाईवे को यातायात के लिए खोल दिया गया। प्रशासन ने बताया कि यात्रा मार्ग को सुरक्षित बनाए रखने का कार्य अभी भी जारी है, ताकि आने वाले दिनों में बड़ी संख्या में श्रद्धालु सुरक्षित रूप से गंगोत्री धाम पहुंच सकें।
धाम में बुधवार को श्रद्धालुओं ने दिनभर विशेष पूजा-अर्चना की और गंगाजल लेकर मां गंगा का आशीर्वाद लिया। शाम छह बजे तक मंदिर प्रांगण में भक्तों की भीड़ रही। इस दौरान कोई भी श्रद्धालु रात में धाम में नहीं रुका। गंगोत्री धाम में श्रद्धालुओं की वापसी से तीर्थपुरोहितों और चारधाम यात्रा से जुड़े व्यापारियों में खुशी की लहर दौड़ गई।
तीर्थ पुरोहित सुमन सेमवाल ने कहा कि भक्तों के गंगोत्री धाम पहुंचने से आपदा के बाद चारधाम यात्रा की उम्मीद फिर जगी है। गुजरात, पश्चिम बंगाल और दक्षिण भारत से आए श्रद्धालुओं ने गंगा जी के दर्शन किए और जल भरकर लौटे। फिलहाल गंगोत्री धाम में तीन-चार दुकानें ही खुली हैं, लेकिन यात्रा चरम पर आने पर जल्द ही अन्य दुकानें और ढाबे भी खुलेंगे। जिला होटल एसोसिएशन के अध्यक्ष शैलेंद्र मटूड़ा ने कहा कि गंगोत्री धाम की यात्रा शुरू होने से व्यवसाय से जुड़े लोग राहत महसूस कर रहे हैं। आगामी 11 और 12 सितंबर को यात्रियों की अच्छी बुकिंग है, और प्रशासन की शटल सेवा के माध्यम से यात्रा जारी रहेगी।
13 सितंबर से शुरू होगी यमुनोत्री यात्रा
उत्तरकाशी/श्रीनगर गढ़वाल। मानसून आपदा के बाद गंगोत्री धाम की यात्रा पुनः शुरू कर दी गई है। जिलाधिकारी प्रशांत आर्य ने बुधवार को पत्रकार वार्ता में जानकारी दी कि गंगोत्री मार्ग के धरासू, नालूपानी, हेलगुगाड़ और डबरानी जैसे संवेदनशील क्षेत्रों में भूस्खलन जारी होने के कारण सीमित संख्या में ही तीर्थयात्रियों को भेजा जा रहा है। यमुनोत्री राष्ट्रीय राजमार्ग अभी कई स्थानों पर बाधित है, इसलिए यमुनोत्री धाम की यात्रा 13 सितंबर से शुरू करने का निर्णय लिया गया है। जंगलचट्टी में करीब 150 मीटर, बनास में 40 मीटर और फूलचट्टी में कई हिस्सों में सड़क क्षतिग्रस्त है। एनएच विभाग 12 सितंबर तक मार्ग को सुचारु करने का प्रयास कर रहा है। जिलाधिकारी ने यात्रियों से प्रशासन द्वारा जारी एसओपी का पालन करने का अनुरोध किया। अब तक गंगोत्री में 6.68 लाख और यमुनोत्री में 5.85 लाख श्रद्धालुओं ने दर्शन किए हैं।

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